सतपुड़ा एक्सप्रेस छिंदवाड़ा – जनजाति विभाग छिंदवाड़ा की लापरवाही की बांनगी देखिए जिला मुख्यालय बस स्टैंड स्थित अनुसूचित जनजाति बालाक आश्रम को बंद हुए 5 साल हो गए हैं अधीक्षक को छोड़कर वहां पदस्थ 5 शिक्षक पिछले 5 सालों से बैठे-बिठाए पेमेंट ले रहे हैं आदिवासी आयुक्त कार्यालय से महज 1 किलोमीटर की दूरी पर स्थित उक्त आश्रम में अधिकांश समय सहायक आयुक्त बैठकर अपने ऑफिस का काम किया करते थे मगर उनके जहन में यह ख्याल एक बार भी नहीं आया कि यहां पर पदस्थ शिक्षकों को किसी शिक्षक विहीन शाला में पदस्थ किया जाए
पांच सालों से लगातार सभी शिक्षकों की तनखा समय पर विभाग द्वारा दी जा रही है जबकि हर माह विभागीय मुख्यालय में वेतन पत्रक जमा कराया जाता है जिसमें उपस्थिति पंजी सहित संस्था प्रमुख और मंडल संयोजक के हस्ताक्षर होते हैं फिर भी विभाग के वरिष्ठ आंख मूंदकर बैठे हुए