सतपुड़ा एक्सप्रेस बैतूल: मध्य प्रदेश के बैतूल जिले में वेस्टर्न कोलफील्ड्स लिमिटेड (WCL) की एक खदान में गुरुवार दोपहर दर्दनाक हादसा हो गया। पाथाखेड़ा क्षेत्र की छतरपुर-1 कोयला खदान में छत गिरने से तीन कर्मचारियों की दबकर मौत हो गई।
हादसा कैसे हुआ गुरुवार दोपहर करीब 3 बजे छतरपुर-1 खदान के कंट्यूनर माइनर सेक्शन में कर्मचारी खनन कार्य कर रहे थे। इसी दौरान खदान की छत अचानक ढह गई। बताया जा रहा है कि करीब 10 मीटर की छत गिरी, जिससे तीन कर्मचारी मलबे में दब गए। हादसे की जानकारी मिलते ही रेस्क्यू टीम मौके पर पहुंची और राहत कार्य शुरू किया।
रेस्क्यू ऑपरेशन और मौत की पुष्टि रेस्क्यू टीम और एंबुलेंस तत्काल मौके पर पहुंची और बचाव अभियान शुरू किया गया। काफी मशक्कत के बाद तीनों कर्मचारियों के शव खदान से बाहर निकाले गए। अधिकारियों ने तीनों की मौत की पुष्टि की है।
मृतकों की पहचान:**
1. गोविंद कोसरिया (37 वर्ष) – शिफ्ट इंचार्ज
2. रामप्रसाद चौहान (46 वर्ष) – माइनिंग सरदार
3. रामदेव पंडोले (49 वर्ष) – ओवरमैन
**जांच के आदेश** हादसे के बाद प्रशासन ने जांच के आदेश दे दिए हैं। प्रारंभिक रिपोर्ट के अनुसार, खदान की छत कमजोर होने के कारण यह हादसा हुआ।कोयला काटते समय खदान की छत गिर छतरपुर वन खदान में कंट्यूनर माइनर मशीन चल रही थी। कोयला काटते समय अचानक खदान की छत गिर गई।
बताया जा रहा है कि अधिकारी और वर्कर खदान में निरीक्षण के लिए उतरे थे। जिस सेक्शन में हादसा हुआ वह जॉय माइनिंग सर्विस का है। इसमें ऑस्ट्रेलियाई मशीन लगी है। कंपनी कोलकाता की है।भारतीय कोयला खदान मजदूर संघ के अध्यक्ष प्रमोद कुमार ने बताया कि 2 फुट मोटा और ढाई मीटर लंबा रूफ गिरा था, जिसमें दबने से 3 लोगों की मौत हो गई। उन्होंने बताया कि टीम मशीन से कोयला खुदाई के बाद तुरंत मौके पर चली गई थी। ये लोग बगैर सपोर्ट की छत के नीचे पहुंच गए थे। जहां यह हादसा हुआ।