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कलेक्टर ने दिए लापरवाहों को एससीएन जारी करने के निर्देश

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कलेक्टर श्री सिंह ने ली महिला एवं बाल विकास एवं स्वास्थ्य विभाग की संयुक्त समीक्षा बैठक

गर्भवती महिलाओं, माताओं और शिशु स्वास्थ्य में लापरवाहीनहीं की जायेगी बर्दाश्त- कलेक्टर श्री सिंह

सतपुड़ा एक्सप्रेस छिंदवाड़ा / / कलेक्टर शीलेंद्र सिंह ने शनिवार को कलेक्टर कार्यालय के सभाकक्ष में महिला एवं बाल विकास एवं स्वास्थ्य विभाग की संयुक्त समीक्षा बैठक ली। बैठक में विभिन्न राष्ट्रीय कार्यक्रमों एवं विभिन्न योजनाओं में लक्ष्य पूर्ति, विभागीय रिपोर्ट, दोनों विभागों के डेटा में सुधार, संस्थागत प्रसव, मातृ एवं शिशु स्वास्थ्य को बेहतर करने की दिशा में किये जा रहे कार्यों आदि की विस्तृत समीक्षा की गई और दोनों विभागों के अमले को बेहतर आपसी समन्वय स्थापित करते हुये प्रोएक्टिव होकर कार्य करने और फील्ड में अपेक्षित कार्यवाही सुनिश्चित करने के निर्देश दिये गये । साथ ही लापरवाहों को एस.सी.एन. जारी करने के निर्देश भी दिए गए हैं।

बैठक में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ.जी.सी. चौरसिया, जिला स्वास्थ्य अधिकारी डॉ.नरेश गुनाडे, प्रभारी जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला एवं बाल विकास डॉ.मोनिका बिसेन, सहायक संचालक हेमंत छेकर, जिला टीकाकरण अधिकारी डॉ.एल.एन.साहू, जिला टी.बी.अधिकारी डॉ.अर्चना कैथवास, जिला एस.एन.सी.यू.प्रभारी डॉ.अंशु लाम्बा सहित दोनों विभागों के जिला स्तरीय सभी अधिकारी, जिले के सभी विकासखंड के बी.एम.ओ., सभी ब्लॉक कार्यक्रम प्रबंधक, सभी कम्युनिटी मोबिलाइजर, महिला बाल विकास के सभी परियोजना अधिकारी और अक्षिता फाउंडेशन के को-ऑर्डिनेटर उपस्थित थे।

        कलेक्टर श्री सिंह ने समीक्षा के दौरान स्वास्थ्य इंडिकेटर में खराब प्रदर्शन के कारण बीएमओ परासिया को और मातृ स्वास्थ्य में खराब प्रदर्शन पाए जाने पर बीपीएम अमरवाड़ा और जामई को कारण बताओ नोटिस जारी करने के निर्देश दिए हैं। इसी तरह जिले में वित्तीय वर्ष 2023-24 के दौरान दर्ज हुई 41 मातृ मृत्यु के प्रकाश में आने पर उन सभी उप स्वास्थ्य केंद्र की ए.एन.एम. को भी कारण बताओ नोटिस जारी करने के निर्देश दिए हैं। सभी ब्लॉक को शत-प्रतिशत गर्भवती महिलाओं का ए.एन.सी. रजिस्ट्रेशन सुनिश्चित करते हुए चारों ए.एन.सी. जांच करने के निर्देश दिए हैं। शहरी क्षेत्र में प्रगति कम होने के कारण ए.पी.एम. को कारण बताओ नोटिस जारी करने के निर्देश दिए हैं। बैठक में जिले में स्थित 51 डिलीवरी पॉइंट्स की समीक्षा भी की गई जिसमें अक्रियाशील 23 से 24 प्रसव केंद्रों पर लक्ष्य के अनुरूप प्रसव कम पाए जाने पर नाराजगी व्यक्त की, साथ ही वहां पदस्थ स्टाफ को चेतावनी पत्र जारी कर कार्यवाही करने के निर्देश दिए गए।

        कलेक्टर श्री सिंह ने कहा कि गर्भवती महिलाओं और शिशुओं का स्वास्थ्य मेरी प्राथमिकता है। जब गर्भवती महिला स्वस्थ होगी तभी स्वस्थ बच्चा जन्म लेगा। इसीलिए गर्भवती महिलाओं के स्वास्थ्य में शुरुवात से ही ध्यान देना स्वास्थ्य विभाग एवं महिला एवं बाल विकास विभाग दोनों का दायित्व है। दोनों विभाग का फील्ड अमला प्रोएक्टिव रहकर फील्ड में कार्य करे और जिला अधिकारी अपनी मॉनिटरिंग बढ़ाएं। आगे से माताओं एवं शिशु स्वास्थ्य में किसी तरह की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जायेगी और कोई अप्रिय घटना होती है, तो सभी संबंधित की जवाबदेही तय की जायेगी।

उन्होंने बताया कि महिला एवं बाल विकास विभाग के अपूर्ण एवं अप्रारंभ आंगनबाड़ी भवनों की समीक्षा एसडीएम स्तर से भी कराई जाएगी और समय सीमा बैठक में भी इसे रखा जायेगा।  उन्होंने निर्देश दिए कि आंगनबाड़ी केन्द्रों में स्व-सहायता समूह द्वारा सांझाचूल्हा के माध्यम से जो नाश्ता, भोजन और पोषण मील दिया जा रहा है, वह समय पर और गुणवत्तापूर्ण हो। इसकी मॉनिटरिंग जिला अधिकारियों के माध्यम से भी कराई जायेगी। पोषण पुनर्वास केंद्रों में कुपोषित बच्चों की शत प्रतिशत भर्ती सुनिश्चित कराएं और उन्हें कुपोषण मुक्त करें। लाडली लक्ष्मी योजना, प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना के लक्ष्य को शत प्रतिशत पूर्ण करें।  सभी आंगनबाड़ी केंद्र समय पर खुलें और पोषण ट्रैकर एप में इसकी एंट्री, बच्चों की उपस्थित, नाश्ता वितरण आदि सभी एंट्रीज समय पर शत प्रतिशत आंगनबाड़ी केंद्रों की सुनिश्चित की जाएं। उन्होंने सभी गर्भवती महिलाओं और बच्चों के आधार वेरिफिकेशन का कार्य भी शत प्रतिशत सुनिश्चित करने के निर्देश दिए।

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